नम आंखों से मां सरस्वती की प्रतिमा काे किया गया विसर्जन
विधि विधान से पूजन के बाद मां हंस वाहिनी की प्रतिमा को किया गया विसर्जित
भक्तों ने मां सरस्वती को नम आंखों से दी विदाई
वाराणसी, बुधवार 17 फरवरी। जिले में मंगलवार को ज्ञान की देवी मां सरस्वती की आराधना के बाद बुधवार को नाचते गाते भक्तों ने भावुक पलों में मां को विदा किया। जिले के विभिन्न जगहों पर विद्या व बुद्धि की अधिष्ठात्री देवी मां सरस्वती की प्रतिमा को अगले वर्ष फिर आना मां कहते हुए श्रद्धालुओं ने तालाब, कुंडो सहित अन्य जलस्त्रोतों में विसर्जित किया। सुबह से ही मूर्ति विसर्जन का कार्य प्रारंभ हुआ, जो देर शाम तक चला। विसर्जन कार्य को शांतिपूर्वक संपन्न कराने के लिए पुलिस प्रशासन ने सुरक्षा की मुकम्मल व्यवस्था की थी। इस दौरान पूरे शहर में भक्ति का माहौल रहा।
इसके पूर्व पंडालों में विधि विधान से मां सरस्वती की पूजा अर्चना की गई और प्रसाद का वितरण हुआ। श्रद्धालुओं ने अबीर-गुलाल उड़ा वसंत का स्वागत भी किया। ग्रामीण क्षेत्रों में बसंत पंचमी के दिन से ही होली गीतों की गूंज सुनाई देने लगी है। इसके बाद विभिन्न वाहनों पर मां हंसवाहिनी की प्रतिमा रख कर झांकी निकाली गई। पंडालों में स्थापित प्रतिमा का श्रद्धालुओं ने अवाह्नम न जनामि, न जनामि विसर्जनम, पूजा चैवं.. से वंदन कर गलतियों के लिए क्षमा करने की प्रार्थना की। इस दौरान युवाओं व छात्रों की टोली झूमते नाचते गाते चल रही थी। साथ ही एक-दूसरे को अबीर गुलाल लगा वसंतोत्सव का जश्न मनाया। ग्रामीण क्षेत्रों में भी मूर्ति विसर्जन कार्य को शांतिपूर्वक संपन्न कराया गया। शिक्षण संस्थानों व पूजा समितियों द्वारा स्थापित प्रतिमाओं को विसर्जित किया गया।