कैंट स्थित रोडवेज बस डिपो के पास वाहन लगाने को लेकर जमकर हुआ मारपीट,पूर्व आईपीएस अमिताभ ठाकुर ने डीजीपी से कार्यवाही की मांग की,
पूर्व आईपीएस अमिताभ ठाकुर ने डीजीपी को पत्र लिख एसीपी चेतगंज व इंस्पेक्टर सिगरा को निलंबित करने की मांग की, कैंट स्थित रोडवेज बस डिपो के पास सड़क पर वाहन लगाने को लेकर गुरुवार को जमकर मारपीट हुई। इससे कुछ समय के लिए वहां अफरातफरी का माहौल रहा। घटना की वीडियो वायरल हो रहा है। सूचना के बाद पहुंची सिगरा थाने की पुलिस ने पांच लोगों को हिरासत में लिया है। उनसे पूछताछ की जा रही है। पीड़ित अरूण कुमार ने सिगरा थाने में तहरीर दी है। पुलिस को बताया कि वह अपनी गाड़ी को प्रयागराज भेज रहा था। उसी दौरान वहां पहुचे दूसरे पक्ष के लोगों ने गालीगलौज करते हुए मारपीट की। पूरी घटना रोडवेज पुलिस चौकी के सिपाहियों के सामने हुई। इसके बावजूद मूकदर्शक बने रहे।
बताया कि दबंगों ने धमकी दी कि मेरी गाड़ी नहीं चलने देंगे। आरोप लगाया कि युवक आएदिन गाड़ी मालिकों व चालकों के साथ मारपीट करते रहते हैं। पुलिस घटना की छानबीन कर रही है। वहीं आजाद अधिकार सेना के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमिताभ ठाकुर ने वाराणसी के सिगरा थाना क्षेत्र के कैंटमे अवैध टैक्सी स्टैंड पर मारपीट के मामले में इंस्पेक्टर सिगरा तथा एसीपी चेतगंज को निलंबित किए जाने की मांग की है, उन्होंने इस संबंध में डीजीपी यूपी को पत्र भेज कर कहा है कि उन्होंने कई बार इस टैक्सी स्टैंड के संबंध में स्थानीय पुलिस अफसरों को शिकायत भेजी, जिसमे उन्होंने एसपी चंदौली के पेशकार धीरेंद्र प्रताप सिंह और उनके लड़के के बारे में शिकायत की थी, अमिताभ ठाकुर ने कहा कि इसके विपरीत हर बार थाना सिगरा और एसीपी चेतगंज द्वारा मामले में फर्जी रिपोर्ट लगाकर मामले को रफा दफा कर दिया गया। अभी हाल में 12 जनवरी 2024 की अपनी रिपोर्ट में एसीपी चेतगंज ने एक बार फिर मौके पर कोई अवैध टैक्सी स्टैंड नहीं होने की बात कही। साथ ही गलत तथ्य अंकित करते हुए इंस्पेक्टर धीरेंद्र प्रताप सिंह और उनके पुत्र को क्लीन चिट दिया था, पूर्व आईपीएस ने कहा कि आज की घटना इन स्थितियों के कारण हुई है और यह दर्शाती है कि पुलिस इस अवैध गतिविधि में पूरी तरह लिप्त है। अतः उन्होंने डीजीपी से अविलंब एसीपी चेतगंज और इंस्पेक्टर सिगरा को निलंबित किया करते हुए उनके खिलाफ कार्रवाई किए जाने की मांग की है,